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गोलबाजार में जल्द ही दोपहिया तक पर लगेगा बैन, एंट्री 16 की जगह आठ जगह से, सभी में बनेंगे गेट
दुकानों का मालिकाना हक देने के साथ ही गोलबाजार बनेगा पब्लिक फ्रेंडली
रायपुर, 02 दिसंबर 2020/ गोलबाजार के भीतर खरीदारी करने गए लोगों को तंग गलियों में एक-दूसरे से टकराकर नहीं गुजरना पड़ेगा। नगर निगम अगले माह से गोलबाजार के व्यापारियों को मालिकाना हक देने की तैयारी कर रहा है, लेकिन इसके साथ बड़े पैमाने पर हुए कब्जे भी हटा दिए जाएंगे। बाजार की संकरी से संकरी गली भी 10 फीट चौड़ी होगी, जो अभी कब्जों की वजह से दो-तीन फीट ही बची हैं। यही नहीं, अभी गोलबाजार में घुसने के लिए 16 सड़कें-गलियां हैं। सभी बंद कर दी जाएंगी और चारों तरफ को मिलाकर सिर्फ 8 जगह एंट्री बनेगी और सबमें प्रवेश द्वार लगेंगे। इसके अलावा बाजार में कहीं से भी घुसा नहीं जा सकेगा।
गोलबाजार शहर का ऐतिहासिक ही नहीं एकमात्र ऐसा बाजार है, जहां लोगों को दैनिक उपयोग और शादी-ब्याह की तमाम चीजें मिल जाती हैं। यहां रोज 10 हजार से ज्यादा लोग पहुंचते हैं। त्योहार और शादी-ब्याह के सीजन में यहां पहुंचने वाले लोगों की संख्या इससे दो-तीन गुना बढ़ जाती है। लगभग डेढ़ एकड़ क्षेत्र में फैले गोलबाजार में 960 वैध और निगम अफसरों के अनुसार लगभग इतने ही अवैध दुकानदार हैं। गोलबाजार अभी चारों तरफ से खुला हुआ है। यहां 16 गेट हैं। इसकी संख्या कम कर आठ की जाएगी। बहुत छोटे-छोटे एंट्री और एग्जिट गेट को बंद किया जाएगा। इससे अनावश्यक भीड़ बाजार के भीतर नहीं पहुंचेगी और ट्रैफिक एक तरफ से आएगी और दूसरी तरफ से निकलेगी। बाजार के भीतर पार्किंग के लिए कहीं जगह नहीं है। बाजार के भीतर गाड़ियों का प्रवेश प्रतिबंधित रहेगा। इसलिए लोगों को जवाहर बाजार में गाड़ियां रखनी होगी, या फिर बाजार के भीतर पैदल आना होगा।
अभी केवल आसमान से नजर आता है गुंबद, जल्द बाजार से भी दिखेगा
शुरुआत में गोल गुंबद के चारों तरफ एक घेरे में दुकानें लगती थीं। शहर बढ़ा तो दुकानें बढ़ने लगीं और यह गुंबद से नजदीक पहुंचती चली गईं। अब स्थिति यह है कि गुंबद के चारों तरफ लोगों ने उसकी दीवारों पर ही शटर और गेट लगाकर दुकानें बना ली। गुंबद अब कहीं से नजर ही नहीं आता। निगम ने गुंबद में किसी भी व्यक्ति को दुकानें आबंटित नहीं की। उन सभी को बेदखल किया जाएगा। यहां के कारोबारी आकाश साहू ने बताया कि उसके परदादा इलाहाबाद से रायपुर आकर गुढ़ियारी के आसपास कारोबार करना चाहते थे, लेकिन वहां भीड़ बढ़ गई थी। बाहर से आए कारोबारी दूसरे शहर जाने लगे, तब अंग्रेजों ने वर्तमान गोलबाजार में गोल गुंबद के आसपास बाजार बसाने के लिए कहा। तब वहां इक्का-दुक्का दुकानें लगीं। गुंबद से लगा सैनिकों का अस्तबल था। गुंबद के भीतर बड़ा कुआं है, जिसके पानी का उपयोग अंग्रेज सैनिक करते थे। यह कुआं भी गायब हो चुका है।
कनेक्टिव सड़कें भी बनेंगी
अफसरों के अनुसार गोलबाजार में प्रवेश करने वाली सड़कों के साथ-साथ चारों ओर की कनेक्टिंग रोड भी चौड़ी की जाएंगी। मालवीय रोड से हलवाई लाइन वाली सड़क, गोलबाजार थाने के बाजू वाली सड़क से बंजारी चौक के पास, रविभवन के कार्नर से बंजारी चौक जाने वाली रोड को भी ट्रैफिक के लिहाज से व्यवस्थित किया जाएगा। इससे गोलबाजार में अनावश्यक भीड़ नहीं रहेगी। इस इलाके में पूरा थोक मार्केट भी है। थोक बाजार की गाड़ियों की वजह से भी पूरे बाजार में अव्यवस्था रहती है। इसलिए बड़ी गाड़ियों के प्रवेश और निकास की टाइमिंग भी तय की जाएगी।
निगम ही करेगा इसका विकास
जानकारों के अनुसार गोलबाजार में सुविधाएं विकसित करने के काम स्मार्ट सिटी नहीं, नगर निगम करेगा। दुकानों की रजिस्ट्री और डेवलपमेंट कामों के लिए एक कमेटी बनाई जाएगी। इसमें नगरीय प्रशासन विभाग, बाजार विभाग के अफसर और जनप्रतिनिधि रहेगे। यह कमेटी दुकानों की कीमत तय करने के साथ ही बाजार के लिए सुविधाएं विकसित करने की कार्ययोजना भी बनाएगी। बाजार की जरूरत के मुताबिक प्राथमिकता के साथ काम तय किए जाएंगे।
पर्याप्त रोशनी और कैमरे भी
योजना के मुताबिक पूरे बाजार में सड़कों को चौड़ी करने के बाद पानी निकासी की व्यवस्था की जाएगी। पर्याप्त रोशनी रहेगी और सुरक्षा के मद्देनजर यहां पर सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे। बाजार में दिनभर में 10 हजार से ज्यादा लोग पहुंचते हैं। बाजार में आधुनिक शौचालय बनाए जाएंगे। इसका उपयोग पहुंचने वाले लोगों के अलावा कारोबारी भी कर सकेंगे।
“जल्दी ही कमेटी बना रहे हैं, जो दुकानों की कीमत तय करे ताकि लोगों को मालिकाना हक दिया जा सके। इसके बाद कारोबारियों से रजिस्ट्री शुरू की जाएगी। इसी दौरान गोलबाजार को व्यवस्थित करने का काम भी बड़े पैमाने पर शुरू कर दिया जाएगा।”
-एजाज ढेबर, महापौर रायपुर