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मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की अध्यक्षता में कैबिनेट के फैसले, उद्योग, भूमि सुधार को लेकर निर्णय

4 years ago
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छत्तीसगढ़ कैबिनेट बैठक : किसानों के लिए अलग कानून बनेगा, वन विभाग अब से वन और जलवायु परिवर्तन विभाग; कोरोना संक्रमण के चलते अभी नहीं खुलेंगे स्कूल

इस बार राज्योत्सव नहीं, सिर्फ राज्य अलंकरण होगा, बस संचालकों को वेतन देने पर ही टैक्स छूट

रायपुर, 9 अक्टूबर 2020/  केंद्र सरकार के कृषि सुधार बिल के विरोध में छत्तीसगढ़ में किसानों के लिए नया कानून बनाया जाएगा। इसके लिए राज्य सरकार जल्द ही विधानसभा का विशेष सत्र बुलाएगी। वहीं, कोरोना संक्रमण के चलते सरकार अभी स्कूल खोले जाने के पक्ष में नहीं है। हालांकि बच्चों की पढ़ाई पहले की तरह जारी रहेगी। इसके साथ गुरुवार को कैबिनेट की बैठक में कई और फैसले भी लिए गए।

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की अध्यक्षता में हुई बैठक में औद्योगिक नीति, भूमि सुधार को लेकर चर्चा की गई। वहीं, छत्तीसगढ़ शासन कार्य नियम में संशोधन कर वन विभाग का नाम बदलकर वन और जलवायु परिवर्तन विभाग का प्रस्ताव लाया गया है। इसके साथ ही राज्य औषधि पादप बोर्ड को बदलकर छत्तीसगढ़ आदिवासी स्थानीय स्वास्थ्य परंपरा एवं औषधि पादप बोर्ड नाम रखा गया है।

उद्योगों को लेकर बड़े फैसले

 

भू-जल के औद्योगिक उपयोग के लिए निर्धारित दरों में 20 से 33 प्रतिशत तक की कमी की जाएगी। इससे मिलने वाले टैक्स की राशि को भू-जल संरक्षण कोष में जमा किया जाएगा। इस कोष का उपयोग भू-जल संवर्धन (रि-चार्जिंग ) में होगा।

स्वनिर्मित स्त्रोत की श्रेणी को फिर से लागू किया गया। इसके लिए पहले जलदर 5 रुपए प्रति घन मीटर थी, उसे कम कर 3.50 रुपए प्रति घन मीटर किया गया।

पट्टे पर आबंटित औद्योगिक भूमि का उपयोग न हो पाने के मामलों में भूमि ट्रांसफर को आसान किया गया है। सरकार ऐसी जमीन को कब्जे में लेकर नए आवेदकों को आबंटित करेगी।

बायो एथेनॉल लिए एमओयू हस्ताक्षरित कर 6 माह में इकाई के उत्पादन में आने पर ‘अर्ली बर्ड इंसेटिव’ देने के प्रावधान को अब 18 माह किया गया है। साथ ही लीज पर दी गई जमीन पर उद्योग लगाने के लिए निर्धारित अवधि में एक वर्ष की वृद्धि की गई है।

अनुसूचित जनजाति/जाति वर्ग और स्टार्टअप के लिए स्पेशल पैकेज घोषित किया गया है। उद्योगों को विस्तार के लिए अनुदान छूट और रियायतों की पात्रता का तय की गई है।

सूक्ष्म उद्योगों के साथ लघु एवं मध्यम उद्योगों को भी स्थाई पूंजी निवेश अनुदान की सुविधा मिलेगी। कोर सेक्टर के उद्योगों को पूरे राज्य में विद्युत छूट की पात्रता दी गई है।

इस्पात क्षेत्र के मेगा/अल्ट्रा मेगा प्रोजेक्ट में निवेश के लिए विशेष प्रोत्साहन पैकेज दिया जाएगा। मेगा निवेशकों के लिए अधिकतम 500 करोड़ रुपए (बस्तर संभाग के लिए 1000 करोड़ तक) मान्य होगा। प्रस्तावित ईकाईयों के लिए 31 अक्टूबर 2024 को या उसके पूर्व व्यावसायिक उत्पादन शुरू करना होगा। 100 करोड़ रुपए का स्थाई पूंजी निवेश कर उत्पादन शुरू करने पर ही नई इकाईयो को पैकेज मिलेगा।

स्पंज आयरन और स्टील सेक्टर के उद्योगों के लिए विशेष पैकेज घोषित। क्षेत्रवार छूट 60 प्रतिशत से 150 प्रतिशत तक देय होगी।

राज्य खाद्य प्रसंस्करण मिशन योजना की सभी योजनाएं 31 अक्टूबर 2024 तक लागू रहेंगी। राज्य स्तरीय अपीलीय फोरम के गठन का भी प्रस्ताव किया गया है।

कृषि आधारित ग्रामीण उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए राज्य प्रसंस्करण मिशन में वन अधिकार अधिनियम पट्टाधारी एवं सामुदायिक और वन संसाधन अधिकार प्राप्त ग्रामों को विशेष प्राथमिकता दी जाएगी।

कर्मचारियों को वेतन देंगे, तभी बस संचालकों को मिलेगी टैक्स में छूट

यात्री वाहन संचालकों को सितंबर और अक्टूबर के टैक्स में छूट दी जाएगी। इसके लिए सरकार ने शर्त रखी है कि अंतरराज्यीय, अखिल भारतीय पर्यटक परमिट और सभी यात्री वाहन संचालकों को सितंबर के पहले अंतिम 3 माह का निर्धारित वेतन चालक, परिचालक और हेल्पर को देना होगा। इसका शपथ पत्र भी जमा करने होंगे।

इस बार नहीं होगा राज्योत्सव

छत्तीसगढ़ राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर कोरोना संकट काल को देखते हुए बड़े कार्यक्रम का आयोजन नहीं होगा। इसके लिए सिर्फ राज्य अलंकरण समारोह मुख्यमंत्री निवास कार्यालय में आयोजित किया जाएगा।

स्वास्थ्य, शिक्षा और आवागमन संरचना के लिए होगा सीएमआईएमयूए का गठन

मुख्यमंत्री अधोसंरचना संधारण एवं उन्नयन प्राधिकरण (सीएमआईएमयूए) का गठन किया गया है। प्राधिकरण शिक्षा, स्वास्थ्य और आवागमन से संबंधित संरचनाओं को बढ़ावा देने के लिए वित्तीय सहायता देगा। मुख्यमंत्री अध्यक्ष और दो विधायक उपाध्यक्ष होंगे। सभी मंत्री, मुख्य सचिव, सचिव वित्त , सामान्य प्रशासन विभाग सदस्य और मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव व सचिव, सदस्य सचिव होंगे। प्राधिकरण में 5 सदस्य विधायक व समाज सेवी और विशेषज्ञ वर्ग से होंगे।

इसके अलावा यह निर्णय भी लिए गए

अनुसूचित जाति विकास प्राधिकरण निधि- नियम 2020 के प्रारूप का अनुमोदन किया गया।

खरीफ बिक्री वर्ष 2020-21 में समर्थन मूल्य पर धान उपार्जन के लिए राज्य सहकारी विपणन संघ मर्यादित को बैंकों और वित्तीय संस्थाओं से लोन पर सरकार गारंटी देगी।

सभी सामाजों की सामाजिक संस्थाओं को रियायती दर पर अब 7500 वर्ग फीट जमीन दी जाएगी। जिला कलेक्टर के स्तर पर ही भूमि आबंटन की कार्यवाही होगी।

छत्तीसगढ़ राज्य के निर्माण कार्यों के ठेकों में एकीकृत पंजीयन व्यवस्था के अंतर्गत नवीन ई श्रेणी का समावेश किए जाने का निर्णय लिया गया।

स्टील उद्योग को प्रतिस्पर्धा में टिके रहने के लिए सरकार वित्तीय वर्ष 2019-20 में घोषित विशेष राहत पैकेज की वैधता जो 31 मार्च 2020 को समाप्त हो गई है, में वृद्धि और ऊर्जा प्रभार में छूट में संशोधन के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई।

सौर उर्जा नीति 2017-27 में संशोधन किया गया। अब एक किलोवाट या अधिक क्षमता के रूफटॉप सोलर पावर प्लांट को ग्रिड कनेक्टिविटी की सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी।

 

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